Tuesday, 16 July 2019

"सारस्वत सम्मान" -15 जुलाई 2019 ~कुछ आशीर्वाद यूँ भी मिला करते हैं!


कुछ आशीर्वाद यूँ भी मिला करते हैं ~

“दिनांक 15 जुलाई, 2019, विभिन्न सम्मानों एवं पुरस्कारों से विभूषितसाहित्य शिरोमणि संपादकाचार्य स्व. डॉ. रमाकांत श्रीवास्तव के जन्मदिन के अवसर पर ‘साहित्यकार सुस्मृति संस्थान’ लखनऊ, तथा ‘डॉ. रमाकांत श्रीवास्तव साहित्य शोध संस्थान’ लखनऊ के संयुक्त तत्वाधान में आयोजित ‘सारस्वत समारोह’  उत्तर-प्रदेश प्रेस क्लब’ में सम्पन्न हुआ! इसमें डॉ. रमाकांत श्रीवास्तव के व्यक्तित्व एवं कर्तृत्व पर वृहद चर्चा हुई! कार्यक्रम के मुख्य अतिथि थे -डॉ. सूर्य प्रसाद दीक्षित, विशिष्ट अतिथि थे -डॉ. लाल जी सहाय श्रीवास्तव!


        इस अवसर पर साहित्यकार श्रीमती अनिता ललित को ‘सारस्वत सम्मान’ से सम्मानित किया गया! उन्होंने डॉ. रमाकांत श्रीवास्तव से मिलने के अवसर का ज़िक्र करते हुए, उनके सादगी भरे जीवन तथा सीधे, सरल एवं शालीन व्यक्तित्व की भूरि-भूरि प्रशंसा की और उनके कुछ हाइकु का वाचन किया! श्रीमती अनिता ललित ने कहा कि जो व्यक्ति कभी अपने गाँव की मिटटी को नहीं भूलाअपने घर की दहलीज़ को नहीं भूलाअपनी माँ के संघर्षों को नहीं भूलामाँ के बताये हर संस्कारआचार-विचार को आभूषणों की तरह धारण करके अपने व्यक्तित्त्व को सजाता गयासँवारता गयानिखारता गया ... उस व्यक्ति को झूठा अहं और इस दुनिया के दिखावे-छलावे कभी छू भी नहीं सकते थे! अपने सरल स्वभाव एवं अपनी रचनाओं के माध्यम से वे सदैव अमर रहेंगे!

श्री अमरेन्द्र पाल, जो कार्यक्रम के प्रमुख वार्ताकार थे, ने डॉ. रमाकांत श्रीवास्तव के जीवन की कुछ घटनाओं का वर्णन किया और उनके साथ अपने अनुभव साझा किये!
डॉ. सूर्य प्रसाद दीक्षित, डॉ. लाल जी सहाय श्रीवास्तव, श्री देवकी नंदन ‘शांत’,  तथा अन्य साहित्यकारों ने भी डॉ. रमाकांत श्रीवास्तव की रचनाओं का वाचन किया एवं उनके साथ के अपने संस्मरण बताए!
श्री वाहिद ने अपने मुक्तक पाठ से सबका मन मोह लिया!
श्री देवकी नन्दन ‘शांत’ के नवगीत’संग्रह ‘नवता’ का लोकार्पण हुआ!


    कार्यक्रम व ‘साहित्यकार सुस्मृति संस्थान’ के अध्यक्ष डॉ. किशोरी शरण शर्मा, महासचिव श्री देवकी नंदन ‘शांत’ एवं टीम, ‘डॉ. रमाकांत श्रीवास्तव साहित्यकार शोध संस्थान’ के अध्यक्ष तथा डॉ. रमाकांत श्रीवास्तव के सुपुत्र श्री विनय श्रीवास्तव एवं उनकी पत्नी श्रीमती रेखा श्रीवास्तव, सचिव तथा डॉ. रमाकांत श्रीवास्तव की सुपुत्री श्रीमती प्रीति कीर्ति एवं अन्य परिवारजन तथा कई प्रबुद्ध साहित्यकारों एवं पत्रकारों की उपस्थति में कार्यक्रम सफलतापूर्वक सम्पन्न हुआ!”